Sadullanagar Road Protest
Sadullanagar Road Protest: बलरामपुर जिले के ग्रामीणों ने खराब सड़क को लेकर प्रशासन को चेतावनी दी है कि सड़क की दुर्दशा पर जल्द कार्रवाई न हुई तो आंदोलन और तेज़ होगा।
सड़क या स्विमिंग पूल? – Sadullanagar Road Protest
बलरामपुर में खराब सड़क को लेकर हो रहे प्रदर्शन ने यह साबित कर दिया कि सड़क विकास योजनाओं में सिर्फ काग़ज़ों पर ही चमकती है। असल में हकीकत कुछ और होती है। उतरौला को जोड़ने वाली सड़क इसकी जीती जागती मिशाल है। यह सड़क अब ‘गड्ढा पर्यटन’ का नया हॉटस्पॉट बन चुकी है। इस सड़क से स्कूल जाने वाले बच्चे स्कूल जाते हैं या तैराकी सीखने – तय कर पाना मुश्किल हो गया है।
गाँव वालों ने सड़क को दी अंतिम चेतावनी
सोमवार को गाँव वालों का धैर्य प्रदर्शन के रूप में फूट पड़ा। गाँव के रमेश गुप्ता उर्फ़ ‘गड्ढा सम्राट’ ने मोर्चा संभाल लिया। नारे लगे – “गड्ढों से आज़ादी चाहिए, सड़क हमें प्यारी है!” ग्रामीणों ने प्रशासन को याद दिलाया कि ये सड़क केवल डामर नहीं, बल्कि जीवनरेखा है।
Sadullanagar Road Protest में महिलाएं भी मोर्चे पर
खराब सड़क को लेकर हो रहे प्रदर्शन में औरतें, बच्चे, बूढ़े – सब मैदान में उतर आए। कहीं गोविंद तख्ती पकड़े खड़े हैं तो कहीं अताउल्लाह और जहाँगीर ‘गड्ढा बचाओ’ अभियान चला रहे हैं। झिंने और उस्मान ने कहा, “बरसात से पहले सड़क ठीक न हुई तो धरना होगा, धरना!”
पानी में सड़क गायब – Sadullanagar Road Protest
बरसात आते ही खस्ताहाल सड़क को लेकर विरोध ज़ोर पकड़ रहा है। सड़क पर बने गड्ढों में इतना पानी भरा है कि गाँव के लोग अब नाव खरीदने की सोच रहे हैं। स्कूली बच्चे कंधे पर किताबें और दिल में डर लेकर निकलते हैं कि कहीं सड़क उन्हें निगल न जाए।
प्रशासन को अल्टीमेटम
प्रदर्शन कर रहे गगन और इमरान ने साफ कहा – अब बहाने नहीं चलेंगे। सड़क मरम्मत का काम बरसात से पहले शुरू होना ही चाहिए। वरना ‘गड्ढा दर्शन’ अब ‘धरना दर्शन’ में बदल जाएगा।
अब क्या होगा?
अब देखना यह है कि प्रशासन गाँव वालों के विरोध की आवाज़ सुनता है या फिर गड्ढे ही नए विधायक बन बैठते हैं। गाँव वालों ने साफ़ कहा है कि सड़क नहीं बनी तो ये आंदोलन इतना लंबा होगा कि गड्ढों को भी भरने का मौका नहीं मिलेगा।
Sadullanagar Road Protest के बाद क्या अब ‘गड्ढा उत्सव’?
प्रदर्शन के बाद गाँव में चर्चा है कि अगर सड़क फिर भी नहीं बनी तो ‘गड्ढा उत्सव’ मनाया जाएगा — हर गड्ढे पर दीप जलेंगे, बच्चे नाव चलाएंगे और नेता जी को खास न्योता भेजा जाएगा कि आइए, अपने वादों के गड्ढों को देख लीजिए! ग्रामीणों ने साफ कहा है, अब सड़क नहीं तो वोट नहीं!
