RaeBareli Murder: Political Drama का ताजा एपिसोड रायबरेली में खुला —जहां व्यापारी हत्याकांड पर कांग्रेस के अजय राय एम्स पहुंचे, घायल महिला को देखा और सरकार को घेरा। यूपी में अपराध पर सियासत फिर गरमा गई है।
RaeBareli Murder: रायबरेली में व्यापारी हत्याकांड पर सियासत गरम
रायबरेली में व्यापारी सुखदेव लोधी की घर में घुसकर हत्या — यूपी की कानून व्यवस्था पर सवाल वैसे ही खड़े कर गई, जैसे हर बड़ी वारदात के बाद उठते हैं। गोली चली, घर उजड़ा, पत्नी अस्पताल में — और इसी मातम के बीच Political Drama का रंग भी चढ़ गया। पुलिस के इकबाल की मिट्टी तो पहले ही पलीद हो चुकी थी, अब माइक पकड़ने वालों ने बाकी कसर भी पूरी कर दी।
RaeBareli Murder: अस्पताल में सियासत का डोज

एम्स के बाहर जितना इलाज अंदर डॉक्टर कर रहे थे, उतना ही इलाज बाहर अजय राय माइक से कर रहे थे। घायल महिला का हालचाल पूछा, फिर सरकार की नब्ज टटोल दी। बोले — प्रदेश में कानून व्यवस्था बेमौत मर गई है। कोई पूछे कि जब सत्ता में थे तब कहां थे? लेकिन यही तो Political Drama है — सत्ता में रहो तो खामोशी, विपक्ष में आओ तो धरती हिला दो।
RaeBareli Murder: जंगलराज का झंडा
जंगलराज, गुंडाराज, भ्रष्टराज — जितने भी ‘राज’ होते हैं, सब यूपी में पनप रहे हैं — अजय राय का यही दर्द था। उन्होंने व्यापारी के मासूम बच्चों को भरोसा दिया — कांग्रेस चुप नहीं बैठेगी। वहीं सरकार पर बरस पड़े कि अब घर के अंदर भी इंसान महफूज नहीं है। सियासत का यही असली पॉपकॉर्न है — सत्ता से बाहर रहते हुए जंगलराज को गरमागरम परोस दो!
गाज़ियाबाद से रायबरेली तक Political Drama का एक ही स्क्रिप्ट

गाज़ियाबाद में बेटा मारा जाता है, रायबरेली में व्यापारी मारा जाता है — लेकिन सरकार कहती है — Zero Tolerance है! मतलब, घर के अंदर भी गोली चले तो भी सब फिट। सियासत का यही खेल है — आम जनता रोए और नेता माइक पकड़ के सियासत करें।
राहुल गांधी का जिक्र, गठबंधन की बिसात
अजय राय ने बताया कि राहुल गांधी के कहने पर वो आए हैं। ये वही राहुल गांधी हैं, जो हर दर्द पर ट्वीट करते हैं — फिर फोटो खिंचाते हैं, फिर ट्वीट हो जाता है — सियासत की क्लासिक रीटेक। गठबंधन की बात भी निकाली — बोले, पहले अपनी 403 सीटें मजबूत करेंगे, फिर पंचायत भी साधेंगे। मतलब, ड्रामा अभी लंबा चलेगा।
RaeBareli Murder: अब आगे क्या?

सवाल वही — पुलिस क्या करेगी? परिवार को न्याय कब मिलेगा? या ये Political Drama अगली चुनावी रैली तक खिंचता रहेगा? व्यापारी की पत्नी बिस्तर पर, बच्चे सहमे हुए, घर की दीवारें खामोश — लेकिन राजनीति ज़िंदा है, सांस ले रही है, और अगली बाइट का इंतज़ार कर रही है।
पंचायत और 2027 — Political Drama का असली खेल
पूरी सियासत आखिर किसके लिए? जवाब सीधा है — पंचायत चुनाव और 2027 के विधानसभा चुनाव में वोटों की फसल काटने के लिए। दुख भले किसी का भी हो, लेकिन हर आंसू में राजनीति के वोट घुले होते हैं। आज व्यापारी की लाश पर सियासत है, कल पंचायत की बिसात बिछेगी — यही असली खेल है।
✅ Written by khabarilal.digital Desk
📍 Location: रायबरेली, यूपी
🗞️Reporter: पंकज कुमार
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