
pilibhit rape
Pilibhit Rape: उत्तर प्रदेश — जहां कानून का राज चलता है, जहां योगी के बुलडोज़र से अपराधी थर-थर कांपते हैं — उसी योगी राज में एक ऐसी घटना सामने आई है, जिसने लोगों को झकझोर कर रख दिया है।
दरअसल, यूपी के पीलीभीत ज़िले में एक नाबालिग लड़की से दुष्कर्म(Pilibhit Rape) के बाद उसकी हत्या का सनसनीखेज मामला सामने आया है। इस वारदात ने पूरे इलाके में हड़कंप मचा दिया है। मृतका के भाई ने इस मामले में पुलिस में रिपोर्ट दर्ज कराई है, जिसके बाद पुलिस ने जांच शुरू कर दी है।
बताया जा रहा है कि 27 मई 2025 को गांव के ही रहने वाले सूरज नाम का एक युवक ने पीड़िता को जबरन अगवा कर लिया, और कथित तौर पर उसके साथ दुष्कर्म (Pilibhit Rape)किया। पीड़िता ने लोक-लाज के डर से यह बात अपने परिवार को नहीं बताई, जिससे आरोपी के हौसले और बढ़ गए।
मृतका के भाई का आरोप है कि इस जघन्य अपराध को अंजाम देने के बाद आरोपी ने अपनी मां के ज़रिए पीड़िता को दूध में ज़हर मिलाकर पिला दिया। ज़हर पीने के बाद पीड़िता की तबीयत बिगड़ने लगी।
जब हालत गंभीर हुई तो पीड़िता को तत्काल जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। वहां से उसे बरेली के एक निजी अस्पताल में रेफर किया गया, लेकिन रास्ते में ही ज़िंदगी और मौत की जंग लड़ती पीड़िता ने दम तोड़ दिया।
Pilibhit Rape:पुलिस पर लापरवाही का आरोप
इस पूरी घटना में अगर किसी पर सबसे ज़्यादा सवाल उठ रहे हैं, तो वह है यूपी पुलिस।मृतका के भाई का कहना है कि यदि समय रहते पुलिस ने कार्रवाई की होती, तो आज उसकी बहन ज़िंदा होती।उसका आरोप है कि शिकायत दर्ज कराने के बावजूद पुलिस ने मामले को गंभीरता से नहीं लिया और आरोपी को पकड़ने के बाद छोड़ दिया गया।इसी ढिलाई के कारण आरोपी के हौसले और बुलंद हो गए।
Pilibhit Rape:पुलिस अधीक्षक का बयान
वहीं, ज़िले के पुलिस अधीक्षक मृतका के भाई के आरोपों को एक तरह से खारिज कर रहे हैं।पुलिस अधीक्षक अभिषेक यादव का कहना है कि पीड़िता के पिता की तहरीर के आधार पर मामला दर्ज कर लिया गया है।मुख्य आरोपी सूरज को गिरफ्तार कर उसके खिलाफ दुष्कर्म, पॉक्सो एक्ट और हत्या से संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है।कप्तान साहब के अनुसार, पुलिस मामले को लेकर पूरी तरह गंभीर है और जो भी इस घिनौनी वारदात में शामिल पाया जाएगा, उसके खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी।
Pilibhit Rape:सामाजिक संगठनों का आक्रोश
इस जघन्य घटना(Pilibhit Rape) के बाद स्थानीय सामाजिक संगठनों का ग़ुस्सा फूट पड़ा है।
महर्षि वाल्मीकि सेना (अटल) ने पुलिस की कार्यशैली पर गंभीर सवाल उठाते हुए ज़िला कलेक्ट्रेट में प्रदर्शन किया और मुख्यमंत्री को संबोधित एक ज्ञापन सौंपा।
संगठन की मांग है कि इस मामले में त्वरित कार्रवाई हो और दोषियों को जल्द से जल्द कड़ी से कड़ी सज़ा दी जाए, ताकि समाज में एक कड़ा संदेश जाए।
संगठन ने पुलिस की भूमिका को “असंतोषजनक और ढुलमुल” करार देते हुए कहा कि घटना के सात दिन बाद(Pilibhit Rape) भी सभी आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं हो पाई है, जो बेहद निराशाजनक है।
उन्होंने चेतावनी दी कि यदि जल्द कार्रवाई नहीं हुई, तो राज्यव्यापी आंदोलन छेड़ा जाएगा।
पीलीभीत से खबरीलाल.डिजिटल के लिए करन देव शर्मा की रिपोर्ट