भारत में आर्थिक विकास की रफ्तार अब सिर्फ जीडीपी तक सीमित नहीं रही, बल्कि व्यक्तिगत संपत्ति के स्तर पर भी यह तेजी से नज़र आ रही है। हुरुन इंडिया रिच लिस्ट 2025 के अनुसार, इस साल हर हफ्ते एक नया अरबपति देश को मिला है। यह आंकड़ा देश की आर्थिक प्रगति, उद्यमिता और स्टार्टअप संस्कृति की बड़ी सफलता को दर्शाता है।
भारत में अब 350 अरबपति, 13 साल में छह गुना इजाफा
एम3एम हुरुन इंडिया रिच लिस्ट 2025 के अनुसार, भारत में अब कुल 350 अरबपति हैं, जो 2013 के मुकाबले 6 गुना अधिक हैं। यह लिस्ट लगातार 14वें साल प्रकाशित की गई है और इस बार इसमें 1,687 भारतीय कारोबारियों को शामिल किया गया है जिनकी संपत्ति 1,000 करोड़ रुपए से अधिक है।
167 लाख करोड़ की कुल संपत्ति, स्पेन की GDP से भी अधिक
रिपोर्ट में बताया गया है कि लिस्ट में शामिल सभी लोगों की कुल संपत्ति बढ़कर 167 लाख करोड़ रुपए हो गई है, जो कि भारत की GDP के बराबर और स्पेन की GDP से अधिक है। हालांकि, वैश्विक आर्थिक तनाव और बाजार में अस्थिरता के कारण अरबपतियों की औसत संपत्ति घटकर 9,850 करोड़ रुपए रह गई है, जो कि पिछले साल 10,320 करोड़ थी।
टॉप 10 अमीर और भी अमीर, उम्र घटी
भारत के टॉप 10 अमीरों की संपत्ति में जबरदस्त इजाफा हुआ है। टॉप 10 में शामिल होने के लिए न्यूनतम संपत्ति सीमा 1.83 लाख करोड़ रुपए हो गई है, जो कि पिछले साल 1.63 लाख करोड़ थी। दिलचस्प बात यह है कि इन अरबपतियों की औसत उम्र अब 69 साल रह गई है, जो पहले से 3 साल कम है।
स्टार्टअप्स बने अरबपति बनाने की फैक्ट्री
भारत में स्टार्टअप्स की ताकत इस रिपोर्ट में साफ झलकती है। इस बार की लिस्ट में 97 स्टार्टअप फाउंडर्स शामिल हुए हैं, जिन्होंने भारत की नई अर्थव्यवस्था को आकार दिया है। यह दर्शाता है कि युवा उद्यमी अब अरबपति क्लब में बड़ी भूमिका निभा रहे हैं।
कौन से सेक्टर्स में सबसे ज़्यादा अरबपति?
-
फार्मा सेक्टर – 137 अरबपति
-
इंडस्ट्रियल प्रोडक्ट्स – 132 अरबपति
-
केमिकल और पेट्रोकेमिकल्स – 125 अरबपति
इन सेक्टर्स ने अरबपति तैयार करने में सबसे ज़्यादा योगदान दिया है, जिससे यह स्पष्ट होता है कि पारंपरिक इंडस्ट्रीज़ के साथ-साथ टेक और हेल्थकेयर जैसे क्षेत्र भी संपत्ति निर्माण में अग्रणी हैं।

https://shorturl.fm/ePVO0
https://shorturl.fm/QX3gL