बलरामपुर में Moharram Inspection पूरा हो चुका है। डीएम-एसपी की फौज चली गई, आदेश हवा में तैर रहे हैं — “तार न लटके, पानी न भरे, सड़कें चमकें!”
अब देखना ये है कि मोहर्रम बीतेगा तो क्या फिर वही पुराने गड्ढे, वही झूलते तार और वही सड़ांध वापस नहीं आएगी? क्योंकि ये शहर साफ-सुथरा नहीं, सिर्फ अफसरों की फोटो-ऑप में चमकता है!
Moharram Inspection – काफिला निकला, गड्ढे देखे गए
बलरामपुर में मोहर्रम की आहट सुनते ही जिले के डीएम पवन अग्रवाल और एसपी विकास कुमार ने पूरा लाव-लश्कर लेकर जुलूस मार्ग का Inspection कर डाला। अफसरों ने ईओ से लेकर झाड़ू पकड़े सफाईकर्मियों तक सबको हिदायतें दीं — “देख लेना, जलभराव नहीं होना चाहिए!”
Moharram में बिजली के तार भी जाग जाएंगे!
डीएम साहब ने फरमान सुना दिया — “बिजली के लटकते तार सही कराओ, कहीं कोई करंट-वंट न पकड़ ले!”
मानो बाकी दिनों में लटकते तारों से करेंट नहीं लगता, वो तो मोहर्रम में ही खतरनाक होते हैं। अफसरों के आदेश से बिजली विभाग के फोन घनघना रहे हैं — मगर कितने तार ठीक होंगे, भगवान मालिक!
सफाईकर्मियों की ‘त्योहार ड्यूटी’ – बाकी साल भूल जाओ
नगर पंचायत को कह दिया गया — “मुख्य मार्गों की सफाई चकाचक हो!”
मतलब बाकी दिनों में कचरा ढोते लोग यूँ ही आदतन गटर पार करते रहें, लेकिन मोहर्रम पर रास्ता चमकना चाहिए — ताकि अफसरों के काफिले को कोई कीचड़ न दिखे! जनता चाहे कीचड़ में रह ले, त्योहार पर सड़क कीचड़मुक्त दिखनी चाहिए, बस!
Moharram Inspection – कागजों पर इंतज़ाम, हकीकत में राम भरोसे

अफसरों ने सुरक्षा इंतज़ाम भी देखे — पुलिस फोर्स चौराहों पर दिखी, लिस्ट बनी, फोटो खिंचे, आदेश सुनाए गए। अब हकीकत में अगले हफ्ते पता चलेगा — ‘इंतज़ाम’ कितना जमीन पर उतरता है! क्यों कि जुलूस निकलने के बाद सड़क वही, नाला वही, तार वही… बस अफसरों के बयान नए!
जनता बोले – साहब आते हैं तो सड़कें भी नहा लेती हैं!
बलरामपुर में ये कोई नई बात नहीं कि त्योहार के नाम पर अफसरों के Inspection से सड़कें चमक जाती हैं। जिस सड़क पर सालभर कचरा नालियों से झाँकता रहता है, वही सड़क साहब के काफिले के लिए झाड़ू-पानी से नहा-धोकर नई नवेली लगती है। अफसर चले जाते हैं, फिर वही कचरा, वही बदबू – जनता को अब भी यकीन नहीं कि ये सफाई सिर्फ दिखावे की नहीं है!
Moharram Inspection-त्योहार में ‘एक्शन मोड’, बाकी दिन ‘भगवान भरोसे’
मोहर्रम का जुलूस निकल जाए, फिर देखना कैसे नालियों में फिर से पानी उफनने लगेगा। लटकते तार फिर जानलेवा झूला बन जाएंगे। बिजली का खंभा फिर से हिलता डुलता नजर आएगा। नगर पंचायत के झाड़ू फिर किसी कोने में टंगे मिलेंगे। अफसर तो हर बार कहते हैं – इंतज़ाम पक्का होगा! पर हर बार इंतज़ाम कागज पर ही पूरा होता है।
ताला लग जाए तंत्र की फुर्ती पर, ताकि हर पर्व पर न हो दिखावे की मशक्कत
डीएम-एसपी का काफ़िला निकल गया, कैमरे चमक गए, आदेश नोट हो गए। मगर बलरामपुर के लोगों को असली इंतज़ार उस दिन का है, जब इन आदेशों का असर सिर्फ मोहर्रम तक नहीं टिकेगा — जब हर मौसम, हर दिन ये शहर साफ़ रहेगा, तार ठीक रहेंगे, सड़कें गड्ढों से नहीं लोगों के पैरों से पहचानी जाएँगी। अफ़सोस, अब तक ये सपना ही है, जो हर मोहर्रम पर थोड़ा-थोड़ा टूटकर फिर से जुड़ता है।
✅ Written by khabarilal.digital Desk
📍 Location: बलरामपुर
🗞️Reporter: राहुल रतन
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