 
                  3 हजार करोड़ की ठगी के आरोपी ‘परमगुरु’ के बिगड़े बोल… कहा – ‘ये प्रेमानंद महाराज के गुरू हैं, इनका पाखंड देखिए’. बयान से धार्मिक हलकों में खड़ा हुआ नया विवाद.
Hisar : आज से ठीक तीन दिन पहले हमने आपको Haryana के हिसार वाले Radhesyam Suthar उर्फ ‘परमगुरु’ के बारे में बताया था. परमगुरु की पूरी कुंडली खोलते हुए हमने आपको बताया था कि कैसे ₹3,000 करोड़ की ठगी के आरोपी राधेश्याम उस मामले में जेल जाता है और फिर वहां से बाहर निकल कर कुछ वक्त के लिए दुनिया की नजरों से ओझल हो जाता है. फिर अचानक भगवा वस्त्र धारण करके ‘परमगुरु’ के रूप में प्रकट हो जाता है. उसके बाद से ही वो सिने जगत की हस्तियों और बीजेपी के नेताओं से मेलजोल बढ़ाने की कोशिश करता है. यहां तक तो ठीक था… लेकिन अब ‘परमगुरु’ ने साधु संतों को लेकर टीका टिप्पणी करनी शुरू कर दी है जिससे नया हंगामा खड़ा हो गया है.
प्रेमानंद महाराज के गुरु को बताया “पाखंडी”

हरियाणा समेत 9 राज्यों में Future Making Company के जरिए ₹3,000 करोड़ की ठगी के आरोपी राधेश्याम ने वृंदावन के प्रसिद्ध संत Premanand Maharaj के Guru Goswami Shrihit Mohit Maral Maharaj पर विवादित टिप्पणी की है. ‘परमगुरु’ ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर कर गोस्वामी श्रीहित मोहित मराल महाराज को निशाना बनाया और उन्हें “पाखंडी” करार दिया. इस बयान ने धार्मिक हलकों में नया विवाद खड़ा कर दिया है.
सोशल मीडिया पर शेयर किए वीडियो
 
 
‘परमगुरु’ ने अपने Social Media Account पर गोस्वामी श्रीहित मोहित मराल महाराज का एक वीडियो साझा करते हुए कहा, “यह वृंदावन के बहुत बड़े संत हैं… इनका पाखंड देखिए. इसलिए मैं कहता हूं कि पाखंड से बचो”. वीडियो में गोस्वामी श्रीहित मोहित मराल महाराज दो महिलाओं के साथ दिखाई दे रहे हैं, जिसे ‘परमगुरु’ ने “मंदिरों में पाखंड” का उदाहरण बताया. ‘परमगुरु’ ने ये भी दावा किया कि मंदिरों में जाने से बचना चाहिए, क्योंकि वहां “पाखंड” हो रहा है.
श्रीहित मोहित को लेकर क्या कहा?
- मंदिरों में पाखंड – ‘परमगुरु’ ने कहा, “मंदिरों में क्या हो रहा है, पाखंड देखिए… जो लोग मंदिरों में नहीं जाते, जैसे बौद्ध धर्म के लोग, दलित समाज और साधु-संतों से जुड़े लोग, उन्होंने ठीक किया. अगर जाते तो देखते कि मंदिरों में ये सब हो रहा है”.
- प्रेमानंद महाराज के गुरु पर निशाना – ‘परमगुरु’ ने वीडियो में कहा, “ये वृंदावन के बड़े संत हैं और प्रेमानंद महाराज के गुरु हैं. ऐसे पाखंड चल रहे हैं देखिए… अगर आपके परिवार की बहन-बेटियां मंदिरों में जातीं तो पुजारियों के चक्कर में पड़ जातीं. इसलिए पाखंड से बचो, परमात्मा को शून्य में पहचानो और एकता मिशन से जुड़ो”.
- मूर्ति पूजा पर सवाल – एक अन्य वीडियो में ‘परमगुरु’ ने मूर्ति पूजा का विरोध करते हुए कहा, “सभी संतों ने मूर्ति पूजा का विरोध किया, लेकिन लोगों ने उनके मंदिर बना दिए. भगवान बुद्ध, संत रविदास, गुरु जंभेश्वर ने कहा कि परमात्मा सर्वत्र है, मंदिर जाने की जरूरत नहीं. फिर भी लोग दो-दो करोड़ के मंदिर बनाकर मूर्ति या फोटो पूजा कर रहे हैं. संतों का ज्ञान समझ ही नहीं पाए”.
कौन हैं प्रेमानंद महाराज?

वृंदावन के प्रमुख संत प्रेमानंद महाराज राधावल्लभ संप्रदाय से दीक्षित हैं और श्रीहित राधा केलि कुंज ट्रस्ट के तहत आश्रम चलाते हैं. किडनी रोग से पीड़ित होने के बावजूद वे धार्मिक प्रवचन देते हैं. उनके लाखों अनुयायी हैं. पूर्व भारतीय क्रिकेट कप्तान Virat Kohli, Anushka Sharma, सांसद रवि किशन और केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर जैसी हस्तियां उनके आश्रम में दर्शन के लिए आ चुकी हैं.
कौन है परमगुरु उर्फ राधेश्याम?

इस सवाल का जवाब अगर आप जानना चाहते हैं तो नीचे दिए Link पर Click करें और ‘परमगुरु’ उर्फ राधेश्याम सुथार की पूरी कुंडली के बारे में जानिए. आपको पता चलेगा कि कैसे एक मामूली प्रॉपर्टी डीलर कुछ ही सालों में 1200 करोड़ का विराट साम्राज्य खड़ा करता है, जेल जाता है और फिर बाहर निकल कर प्रवचन देना शुरू कर देता है.

 
         
         
        